न्यूज़ डेक्स। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ मनसुख मंडाविया ने मंगलवार को आवश्यक दवाओं की राष्ट्रीय सूची जारी की। इस दौरान मनसुख मंडाविया ने कहा कि 384 दवाओं की यह सूची 2015 के बाद अपडेट की गई है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि एक बहुत लंबी प्रक्रिया में 350 से अधिक विशेषज्ञों के साथ 140 लोगों के विचार-विमर्श के बाद इस सूची को जारी किया गया है।
पीएम मोदी के दावे के लिए उपयोगी साबित होगी यह सूची
इसके साथ ही केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ मनसुख मंडाविया ने कहा कि ये दवाएं आने वाले दिनों में देश के स्वास्थ्य क्षेत्र में पहुंच, सामर्थ्य और सुरक्षा सुनिश्चित करेंगी। दवाओं की वहनीयता और उपलब्धता के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दावे के लिए यह सूची उपयोगी साबित होगी।
लिस्ट में जोड़ी गई हैं 34 दवाएं, 26 को हटाया गया
आवश्यक दवाओं की राष्ट्रीय सूची (NLEM) की जारी की गई ताजा सूची में एंटी डायबिटीज दवा इंसुलिन ग्लार्गिन, एंटी टीबी दवा डेलामैनिड, आइवरमेक्टिन व एंटीपैरासाइट जैसी मेडिसिन्स शामिल हैं। इस सूची में अब 384 दवाएं शामिल हैं। जानकारी के मुताबिक, एनएलईएम की लिस्ट में 34 दवाएं जोड़ी गई हैं और 26 दवाओं को हटा दिया गया है।
India can achieve new heights of progress & prosperity only when its citizens are healthy.
PM @NarendraModi Ji's Govt is committed to creating a robust healthcare system with a focus on ensuring Accessibility, Affordability & Safety.
— Dr Mansukh Mandaviya (मोदी का परिवार) (@mansukhmandviya) September 13, 2022
तय मूल्य सीमा से कम में बेची जाती है ये दवाएं
एनएलईएम में लिस्टेड दवाएं नेशनल फार्मास्युटिकल प्राइसिंग अथॉरिटी की ओर से तय मूल्य सीमा से कम में बेची जाती हैं। पहली बार एनपीपीए को 1996 में बनाया गया। इसे 2003, 2011 और 2015 में पहले बदला गया है। अब पांचवी बार ये लिस्ट सितंबर 2022 में रिवाइज की गई है।
Launching the National List of Essential Medicines
Watch Live : https://t.co/wZUmAOEZF9
— Dr Mansukh Mandaviya (मोदी का परिवार) (@mansukhmandviya) September 13, 2022
सिगरेट छुड़ाने वाली दवा अब एनएलईएम में शामिल
स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से आज जारी की गई जरूरी दवाओं की सूची में निकोटिन रिपेलेस्टमेंट थेरेपी भी जोड़ी गई है। यानी सिगरेट छुड़ाने वाली दवा अब एनएलईएम में शामिल है। इसके अलावा Ivermectin भी अब इस सूची का हिस्सा बनी है, जो कीड़े मारने की दवा है। ये कोरोना में कई मामलों में असरदार पाई गई है। हालांकि, इरेथ्रोमाइसिन (Erethromycin) जैसी एंटीबायोटिक भी लिस्ट से हटाई गई है।