नई दिल्ली। भारत की ‘‘पड़ोस प्रथम’’ की नीति को आगे बढ़ाते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 17 से 18 अगस्त तक भूटान के दो दिवसीय दौरे पर जा रहे हैं। इस यात्रा के दौरान दोनों देश द्विपक्षीय संबंधों सहित आपसी हितों से जुड़े विविध विषयों पर व्यापक चर्चा करेंगे। विदेश मंत्रालय ने शुक्रवार को इस आशय की जानकारी दी। मंत्रालय के अनुसार, ‘‘प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी भूटान के प्रधानमंत्री डॉ. लोटे शेरिंग के आमंत्रण पर वहां जा रहे हैं।’’ विदेश मंत्रालय ने कहा कि PM मोदी की यह यात्रा दर्शाती है कि भारत सरकार अपने भरोसेमंद मित्र भूटान के साथ संबंधों को कितना महत्व देती है।
मंत्रालय ने अपने बयान में कहा, ‘‘अपने दूसरे कार्यकाल की शुरूआत में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की भूटान यात्रा भारत सरकार द्वारा ‘पड़ोस प्रथम’ नीति पर जोर दिए जाने के महत्व को दर्शाती है।’’ PM मोदी अपनी भूटान यात्रा के दौरान भूटान नरेश जिग्मे खेसर नामग्याल वांगचुक और भूटान के चौथे नरेश जिग्मे सिग्ये वांगचुक से भेंट करेंगे। वे भूटान के प्रधानमंत्री डॉ. लोटे शेरिंग के साथ बैठक करेंगे। भारत और भूटान समय की कसौटी पर खरे और विशेष संबंधों को साझा करते हैं और दोनों देश साझी सांस्कृतिक धरोहर और लोगों के बीच सम्पर्क के साथ आपसी समझ और सम्मान का भाव रखते हैं।
मंत्रालय ने कहा कि PM मोदी की यात्रा के दौरान दोनों देश द्विपक्षीय संबंधों सहित आपसी हितों से जुड़े विविध विषयों पर व्यापक चर्चा करेंगे और अपने पहले से मजबूत संबंधों को और अधिक प्रगाढ़ बनाने पर जोर देंगे। दोनों देश आर्थिक और विकास सहयोग सहित द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत बनाने पर चर्चा करेंगे। इसमें पनबिजली क्षेत्र में सहयोग सहित दोनों देशों के लोगों के बीच सम्पर्क को बढ़ाने का विषय भी शामिल हो सकता है।