दुबई। स्पिनरों के जादू के बाद कप्तान रोहित शर्मा (76) समेत बाकी भारतीय बल्लेबाजों के दमखम की बदौलत भारत ने तीसरी बार चैम्पियन्स ट्रॉफी का खिताब अपने नाम कर लिया है। इसी के साथ टीम इंडिया ने न्यूजीलैंड से साल 2000 की उस खिताबी हार का बदला ले लिया, जब स्टीफन फ्लेमिंग की टीम ने सौरव गांगुली की कप्तानी वाली टीम को हराकर उसके पहली बार यह खिताब जीतने का सपना चूर किया था। आज रोहित की टीम ने सांसे थामने वाले इस मैच में वैसी कोई चूक नहीं की और भारत को चैम्पियन बना दिया।
भारत ने 2002 में श्रीलंका के साथ इस खिताब का साझा चैम्पियन था और बाद में 2013 में उसने एमएस धोनी की कप्तानी में यह खिताब अपने नाम किया था।
रविवार को खेले गए मैच में न्यूजीलैंड ने टॉस जीतकर पहले बैटिंग का फैसला किया था। न्यूजीलैंड ने टीम इंडिया को 252 रनों की चुनौती पेश की। कीवी टीम ने डैरेल मिचेल (63) और ऑलराउंडर माइकल ब्रेसवेल के नाबाद (53*) की बदौलत यह चुनौतीपूर्ण स्कोर खड़ा किया। इससे पहले उसकी नजरें यहां बड़े टोटल पर थीं, जब शुरुआती 10 ओवर में वह 1 विकेट गंवावकर 69 रन बना चुकी थी। रचिन रवींद्र (37) ने भारतीय गेंदबाजों की खबर लेना शुरू ही किया था कि कुलदीप यादव ने इस मैच में अपनी पहली ही गेंद पर रचिन को गुगली से चौंका कर बोल्ड कर दिया। अगले ही ओवर में कुलदीप ने केन विलियमसन (11) को भी अपनी ही गेंद पर कॉट एंड बोल्ड कर न्यूजीलैंड को दबाव में धकेल दिया।
इसके बाद भारतीय स्पिनरों ने कीवी टीम की रनगति को धीमा कर दिया। डैरेल मिचेल और ग्लेन फिलिप्स (34) ने 5वें विकेट के लिए 57 रनों की साझेदारी की। लेकिन वरुण ने उन्हें बोल्ड कर इस साझेदारी को तोड़ दिया। अंतिम ओवरों में डैरेल मिचेल को शमी ने आउट किया। माइकल ब्रेसवेल ने सूझबूझ से 40 बॉल में तेजी से नाबाद 53 रनों की पारी खेलकर दुबई की स्पिन को मददगार पिच पर भारत 252 रनों की चुनौती पेश की।
इसके जवाब में रोहित शर्मा (76) और शुभमन गिल (31) की शतकीय ओपनिंग साझेदारी ने कीवी टीम को मायूस कर दिया। दोनों बल्लेबाजों ने पहले विकेट के लिए 105 रन जोड़े. इस स्कोर पर गिल कप्तान सेंटनर की गेंद पर ग्लेन फिलिप्स के हैरतअंगेज कैच पर आउट हो गए। विराट कोहली ब्रेसवेल की मैच में पहली ही गेंद के शिकार बन गए। इसके कुछ देर बाद रोहित भी आउट हो तो भारत पर दबाव बन गया।
हालांकि श्रेयस अय्यर (48) और अक्षर पटेल (29) ने चौथे विकेट के लिए 61 रनों की महत्वपूर्ण साझेदारी कर भारत की पारी को फिर से पटरी पर लाने का काम किया। लेकिन अक्षर खराब शॉट खेलकर फाइन लेग पर खराब शॉट खेलकर सेंटनर का दूसरा शिकार बने। कुछ देर बाद अक्षर पटेल भी ब्रेसवेल का दूसरा शकिर बने। लेकिन भरोसेमंद केएल राहुल ने एक छोर पर भारतीय उम्मीदों को थामे रखा और उन्होंने हार्दिक पांड्या (18) और रवींद्र जडेजा के साथ मिलकर भारत को जीत दिला दी।