ईओडब्ल्यू डीजी ने दुर्ग एसपी से रेखा नायर मामले में रिपोर्ट मांगी
रायपुर। निलंबित डीजी मुकेश गुप्ता की स्टेनो रेखा नायर की शैक्षणिक योग्यता संदिग्ध पाई गई है। खबर है कि ईओडब्ल्यू के डीजी ने दुर्ग एसपी को पत्र लिखकर रेखा नायर की सर्विस रिकॉर्ड में मिली कमियों और त्रुटियों पर विस्तृत जानकारी मांगी है।
ईओडब्ल्यू की सूबेदार रेखा नायर अब तक पूछताछ के लिए ईओडब्ल्यू-एसीबी के समक्ष हाजिर नहीं हुई है। उन्हें अब अखबारों के जरिए नोटिस जारी कर सात दिन के भीतर पूछताछ के लिए हाजिर होने कहा गया है। इसी बीच रेखा नायर की सर्विस रिकॉर्ड की जांच की गई है, जिसमें कई तरह की खामियां पाई गई है। इस पर ईओडब्ल्यू-एसीबी के डीजी बीके सिंह ने दुर्ग एसपी को पत्र लिखकर सर्विस रिकॉर्ड में दिख रही खामियों पर विस्तृत जानकारी मांगी है। यह बताया गया कि सर्विस रिकॉर्ड में श्रीमती नायर के पिताजी का नाम दर्ज नहीं है। साथ ही चयन के बाद श्रीमती नायर का चरित्र सत्यापन करने संबंधी कोई रिपोर्ट नहीं है। श्रीमती नायर की शैक्षणिक योग्यता बी-कॉम द्वितीय अंकित है, लेकिन सेवा पुस्तिका में केवल बी-कॉम द्वितीय की अंकसूची व टायपिंग-कम्प्यूटर प्रशिक्षण प्रमाण पत्र की छाया प्रति संलग्न है। उससे पूर्व की शैक्षणिक योग्यताओं की अंकसूची संलग्न नहीं है।
बताया गया कि सर्विस रिकॉर्ड में हिन्दी और अंग्रेजी टायपिंग उत्तीर्ण प्रमाण पत्र की छायाप्रति संलग्न है। जबकि टायपिंग परीक्षा प्रति मिनट कितने शब्द टाइप करने की क्षमता है, इसके बाबत लिया जाता है। हिन्दी टायपिंग उत्तीर्ण होने का दूसरा प्रमाण पत्र दक्षिण भारत की हिन्दी प्रचार सभा, मद्रास द्वारा 20 अगस्त 1992 को जारी किया गया। जिसमें 20 शब्द प्रति मिनट टाइप करने की क्षमता उल्लेखित है। यह जानकारी भी मांगी गई है कि क्या उक्त संस्था से जारी टायपिंग प्रमाण पत्र को मध्यप्रदेश शासन से मान्यता थी?
