दुश्मनों को दहलाने वाली स्वदेशी धनुष तोप आज से सेना में शामिल, जानें इसकी खासियत

दुश्मनों को दहलाने वाली स्वदेशी ‘धनुष’ तोप आज से सेना में शामिल, जानें इसकी खासियत

कानपुर। मेक इन इंडिया के लक्ष्य को बना कर बनाई गई स्वदेशी ‘धनुष’ तोप बुधवार को सेना को समर्पित की जाएगी। आयुध निर्माणी की सेना को दी गई यह देन सीमाओं पर दुश्मनों को खदेड़ने में मददगार होगी। यह रक्षा क्षेत्र में भारत की एक बड़ी उपलब्धि है। फील्ड गन फैक्ट्री से तोप सेना को भेजी जाएगी।

आर्डिनेंस फैक्ट्री ने बोफोर्स से दो पीढ़ी आगे की अत्याधुनिक तोप का विकास कर लिया है। ‘धनुष’ से भी एक कदम आगे नया बैरल तैयार कर दुनिया के शीर्ष तोप बनाने वाले देशों में भारत का नाम दर्ज हो गया है। नई तोप और बैरल की रेंज 42 किलोमीटर है, जो दुनिया की किसी भी तोप को मुंहतोड़ जवाब देने में सक्षम है। वर्ष 2012 से लगातार परीक्षणों में खरा उतरा है, जिसे अब दुनिया के सामने पेश किया जाएगा।

स्वदेशी आधार पर विकसित ‘धनुष’ 155 एमएम 45 कैलिबर की माडर्न आर्टिलरी गन प्रणाली में मील का पत्थर साबित होगी। यह एक पृथक गन सिस्टम के रूप में विकसित की गई है। ‘धनुष’ का वजन 155 एमएम 39 कैलिबर गन से 700 किलोग्राम ज्यादा है। बैरल भी बोफोर्स गन की तुलना में 877 मिमी ज्यादा है। 1987 में 414 बोफोर्स स्वीडन से आयात की गईं थीं। अभी भी लगभग 300 बोफोर्स तोपें सीमा पर तैनात हैं। अब बढ़ती उम्र को देखते हुए देसी ‘धनुष’ बोफोर्स का स्थान लेगा। इसके लिए सेना ने आर्डनेंस फैक्ट्री कानपुर को 414 ‘धनुष’ का आर्डर दिया है। ओएफसी का कहना है कि सेना जितनी तोप मांगेगी, रिकार्ड टाइम में डिलीवर करने में सक्षम है।

अभी ‘धनुष’ ने ही दुनियाभर में तहलका मचा रखा है, आर्डिनेंस फैक्ट्री ने उससे भी दो कदम आगे की तोप की नींव तैयार कर दी। धनुष का बैरल सात मीटर लंबा है, जबकि नया बैरल आठ मीटर लंबा है। यह दुनिया के सबसे लंबे बैरल वाली तोपों में से एक है। आठ मीटर लंबी तोप सिर्फ यूएसए, इजरायल और रूस के पास है। नई तोप का बैरल परीक्षणों में खरा उतरा है। धनुष और एडवांस धनुष देश की पहली तोप हैं जिसमें इस्तेमाल 90 फीसदी पार्ट्स भारत में ही निर्मित हैं।

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