डीजी जीएसटी ने बड़ी कार्रवाई करते हुए 670 करोड़ रुपये के GST के फर्जी बिलों का खुलासा किया, दो गिरफ्तार
जयपुर। डीजी जीएसटी ने फर्जी बिलों के मामले का खुलासा करते हुए दो लोगों को गिरफ्तार किया है। डीजी जीएसटी के मुताबिक एक आरोपी का नाम कपिल विजय है और इसकी फर्म का नाम मैसर्स तनिष्क स्टील एंड टिंबर है, जबकि दूसरे आरोपी का नाम मोहित विजय है और इसकी फर्म का नाम मैसर्स जीवनलाल मोहित कुुमार एंड संस है।
इन दोनों के खिलाफ जांच की गई, तो पता चला कि इन दोनों आरोपियों ने बिना माल की आपूर्ति के नकली चालानों और बिलों को जारी किया है। साथ ही इस तरह के चालान और बिलों पर इनपुट टैक्स क्रेडिट यानी आईटीसी का लाभ उठाया है। इनके 11 ठिकानों पर जांच की गई, तो पता चला कि कपिल विजय और मोहित विजय के पास 21 फर्में थी, जिनसे ये लोग फर्जी बिल जारी कर रहे थे। साथ ही मोहित विजय के पास अलग से 6 फर्में थी। इन 21 और 6 फर्मों को जीएसटी आने के बाद बनाया गया था।
प्रारंभिक जांच में पता चला है कि इन नकली बिलों में कुल 670 .14करोड़ रुपये है, जिसमें से आईटीसी के 113.39 करोड़ रुपये शामिल है। यह राशि और भी बढ़ सकती है। यह दोनों फर्जी बिल जारी करने के मास्टर माइंड थे और राजस्थान,पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, महाराष्ट्र, और गुजरात समेत अन्य राज्यों में चालान जारी किए है।
इन दोनों ने मुख्य रूप से मार्बल, ग्रेनाइट, फैब्रिक, सीमेंट, टिंबर, लोहे के सामान, स्टील आदि के लिए बिल जारी किए थे। अब तक की जांच में पता चला है कि उन्होंने उक्त फर्मो को माल की वास्तविक आपूर्ति के बिना फर्जी चालान के जरिये आईटीसी को फर्जी तरीके से बांटने के उद्देश्य से बनाया था। ये लोग फर्जी आईडी से लोगों के नाम से फर्म खोलते थे और जीएसटीके फर्जी बिल काट देते थे।