भारत के 50वें मुख्य न्यायाधीश बने Justice चंद्रचूड़, राष्ट्रपति मुर्मू ने दिलाई शपथ

नई दिल्ली। न्यायमूर्ति चंद्रचूड़ ने औपचारिक रूप से भारत के मुख्य न्यायाधीश के रूप में आज शपथ ली। पद और गोपनीयता की शपथ उन्हें राष्ट्रपति मू्र्मू ने दिलाई। चंद्रचूड़ भारत के 50वें मुख्य न्यायाधीश बने हैं। न्यायमूर्ति चंद्रचूड़ का कार्यकाल दो वर्ष का होगा। वह 10 नवंबर 2024 को सेवानिवृत्त होंगे। आपको बता दें कि उच्चतम न्यायालय के न्यायाधीश 65 वर्ष की आयु में सेवानिवृत्त होते हैं।

जस्टिस चंद्रचूड़ इलाहाबाद हाईकोर्ट के भी मुख्य न्यायाधीश रह चुके हैं। वहीं, इलाहाबाद हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश रहने से पहले वे मुंबई हाईकोर्ट में मुख्य न्यायाधीश रह चुके हैं। मुंबई हाईकोर्ट की तरफ से चंद्रचूड़ को जून 1998 में सीनियर एडवोकेटके रूप में पदस्थ किया गया था। साथ ही इसी साल उन्हें अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल भी नियुक्त किया गया था।

जस्टिस चंद्रचूड़ सुप्रीम कोर्ट के दूसरे सबसे वरिष्ठ जज भी हैं। जस्टिस चंद्र चूड़ का जन्म 11 नवंबर, 1959 को हुआ था। उन्हें 13 मई, 2016 को सुप्रीम कोर्ट का जज नियुक्त किया गया था। उनके पिता जस्टिस वाईवी चंद्रचूड़ 2 फरवरी 1978 से 11 जुलाई 1985 तक भारत के 16वें मुख्य न्यायाधीश थे। जस्टिस चंद्रचूड़ 31 अक्टूबर 2013 से सुप्रीम कोर्ट में नियुक्ति तक इलाहाबाद उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश थे। वह 29 मार्च, 2000 से इलाहाबाद उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश के रूप में अपनी नियुक्ति तक बॉम्बे उच्च न्यायालय के न्यायाधीश थे।

भारत के 49वें मुख्य न्यायाधीश जस्टिस यूयू ललित थे। उनका अंतिम कार्य दिवस बीते सोमवार को था। उनके विदाई कार्यक्रम में मुख्य न्यायाधीश चंद्रचूड़ भी शामिल हुए थे। इस दौरान उन्होंने कहा कि उनके पास भरने के लिए बहुत बड़े आकार के जूते हैं। साथ ही उन्होंने कहा कि वह यूयू ललित की तरफ से शुरू किए गए अच्छे काम को जारी रखने की कोशिश करेंगे।

चीफ जस्टिस चंद्रचूड़ आधार, सबरीमाला आदि पर धारा 377 को गैर-कानूनी बनाने सहित कई ऐतिहासिक निर्णय भी सुना चुके हैं। हाल ही में उनकी अध्यक्षता वाली एक पीठ ने अविवाहित महिलाओं को गर्भपात कराने का अनुमति दी थी।

संबंधित समाचार

Leave a Comment

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.