गजब! बिना हेलमेट पहने ट्रक चलाने पर ड्राइवर का काट दिया चालान, शख्स ने सुनाई आपबीती

भुवनेश्वर। दो पहिया वाहन चलाते समय हेलमेट पहनना अनिवार्य है ये तो हम सभी जानते हैं, लेकिन क्या आपने कभी सुना है कि बिना हेलमेट पहने ट्रक चलाने के लिए किसी का चालान कटा है। ओडिशा के गंजाम जिले से ऐसा ही अजीबोगरीब एक मामला सामने आया है। यहां एक ट्रक ड्राइवर पर इसलिए 1000 रुपए का चालान थोप दिया गया क्योंकि वह बिना हेलमेट पहने भारी वाहन चला रहा था। ओडिशा परिवहन विभाग का यह कारनामा सामने आने के बाद अब डिपार्टमेंट की काफी किरकिरी हो रही है।

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार ट्रक डाइवर प्रमोद कुमार ओडिशा परिवहन विभाग के कार्यालय में अपने वाहन का परमिट रिन्यू करने पहुंचे थे, लेकिन वहां उनके साथ जो हुआ वह हैरान करने वाला था। यहां प्रमोद कुमार को पता चला कि उनके वाहन OR-07W/4593 का एक हजारा रुपए का चालान अभी पेंडिंग है। परिवहन विभाग के अधिकारियों की यह बात सुन प्रमोद कुमार हैरान रह गए, उन्हें तब बड़ा झटका लगा जब यह पता चला कि पेंडिंग चालान हेलमेट ना पहनने के लिए है।

बिना हेटमेट ट्रक चलाने पर चालान

प्रमोद कुमार द्वारा यह पूछने पर कि उसका चालान किस लिए काटा गया है, तो अधिकारियों ने बताया कि बिना हेलमेट पहने ड्राइव करने के लिए उस पर जुर्माना लगाया गया है। प्रमोद कुमार पर 1000 रुपए का जुर्माना लगाया गया था। दिलचस्प बात यह है कि जिस गाड़ी नंबर (OR-07W/4593) पर चालान काटा गया था, वह बाइक नहीं बल्कि प्रमोद कुमार का ट्रक था। जब प्रमोद ने अधिकारियों को यह बात बताई तो उन्होंने मानने से इनकार कर दिया।

हद तो तब हो गई जब प्रमोद कुमार को मजबूरन वह चालान भरना पड़ा जिसके लिए उसने कभी ट्रैफिक नियम तोड़े ही नहीं। 1000 रुपए भरने के बाद ही प्रमोद कुमार का फिर परमिट को रिन्यू हो सका। प्रमोद कुमार ने कहा कि वह पिछले तीन साल से ट्रक चला रहे है, वह वाटर सप्लाई करते हैं। हाल ही में उनके ट्रक का परमिट खत्म हुआ है जिसे रिन्यू कराने के लिए वह आरटीओ ऑफिस गए थे। इस दौरान उन्हें पता चला कि एक चालान पेंडिंग है लेकिन वह ट्रक का नहीं, बिना हेलमेट गाड़ी चलाने का है।

प्रमोद कुमार ने आगे कहा कि अधिकारी बहुत परेशान करते हैं, सरकार को इस ओर ध्यान देना चाहिए। मुझे मजबूरन एक हजार रुपए का चालान भरना पड़ा क्योंकि ट्रक का परमिट रिन्यू करवाना बहुत जरूरी था। प्रमोद कुमार ने RTO ऑफिस में अवैध रूप से पैसे वसूलने का भी आरोप लगाया है। ओडिशा परिवहन विभाग की इस लापरवाही पर फिलहाल राज्य सरकार की तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है, प्रमोद कुमार को उनके पैसे लौटाए जाएंगे या नहीं, इस पर भी किसी अधिकारी ने कोई जवाब नहीं दिया।

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